शहर की संकरी सड़के हो या 6-8 लैन चोड़े राष्ट्रीय राजमार्ग, जाम नामक पीड़ा से आपका सामना कही भी हो सकता है। भले ही आप कितने ही जरूरी काम से जा रहे हो या किसी एम्बुलेंस में कोई गंम्भीर मरीज हो, जहाँ जिंदगी या मौत के बीच मिनिटों का फासला होता है। जाम से कोई नहीं बच सकता भले राजा हो या रंक।
ऐसा एक वाकिया हो गया केंद्रीय परिवहन मंत्री जी के साथ। जी हा नितिन गडकरी साहब। जनाब के कारवे को रोक लिया गुड़गांव-महिपालप ुर पुलिया पे लगे जाम ने। फिर क्या मंत्री जी को आया गुस्सा और लग गयी NHAI अफसरों की लंका। वैसे एक बात बताऊ गुस्सा तो आम आदमी को भी बहुत आता है पर निकले किस पे??
गडकरी तो दूर घरवाली तक नहीं सुनती!!
जम के लताड़ने के बाद आनन् फानन में 24 घंटे के भीतर 'जाम फ्री' प्लान मांग लिया।
खेर बहाना चाहे जो हो 'जाम फ्री' प्लान बन के सफल क्रियान्वित हो जाये तो आम जनता की बल्ले बल्ले।।
ऐसा एक वाकिया हो गया केंद्रीय परिवहन मंत्री जी के साथ। जी हा नितिन गडकरी साहब। जनाब के कारवे को रोक लिया गुड़गांव-महिपालप
गडकरी तो दूर घरवाली तक नहीं सुनती!!
जम के लताड़ने के बाद आनन् फानन में 24 घंटे के भीतर 'जाम फ्री' प्लान मांग लिया।
खेर बहाना चाहे जो हो 'जाम फ्री' प्लान बन के सफल क्रियान्वित हो जाये तो आम जनता की बल्ले बल्ले।।
कुछ सुझाव
1) हर दिन लगने वाले जाम का मुख्य कारण है यातायात नियमो की अवपालना। अमूमन देखा जाता है कि छोटे मोटे जाम के बाद लोग लाइन में खड़े नहीं होकर इधर उधर से निकलने के चक्कर में हालात यूह बिगड़ते है कि घंटो लग जाते है सुधरने में। यातायात नियमो की कठोर पालना के साथ साथ जहा जाम ज्यादा लगते है वहाँ CCTV कैमरे लगा के साथ इस समस्या से निदान पाया जा सकता है।
2) दूसरा मुख्य कारण है लचर टोल प्रणाली। टोल नाके पे टोल लेने वे रसीद देने की प्रकिया का काफी लंबा होता है, तब तक पीछे लग जाती है लंबी लाइन। digital तकनीक के उपयोग से इस लंबी प्रकिया को आसान बनाया जा सकता है। प्री पेड सिस्टम को बढ़ावा देना भी कारगर उपाय है।
3) तीसरा कारगर उपाय है ज्यादा से ज्यादा मात्रा में पब्लिक ट्रांसपोर्ट को बढ़ावा देके। जोकि जाम के साथ साथ पर्यावरण प्रदुषण से भी निजात दिलायगा।
1) हर दिन लगने वाले जाम का मुख्य कारण है यातायात नियमो की अवपालना। अमूमन देखा जाता है कि छोटे मोटे जाम के बाद लोग लाइन में खड़े नहीं होकर इधर उधर से निकलने के चक्कर में हालात यूह बिगड़ते है कि घंटो लग जाते है सुधरने में। यातायात नियमो की कठोर पालना के साथ साथ जहा जाम ज्यादा लगते है वहाँ CCTV कैमरे लगा के साथ इस समस्या से निदान पाया जा सकता है।
2) दूसरा मुख्य कारण है लचर टोल प्रणाली। टोल नाके पे टोल लेने वे रसीद देने की प्रकिया का काफी लंबा होता है, तब तक पीछे लग जाती है लंबी लाइन। digital तकनीक के उपयोग से इस लंबी प्रकिया को आसान बनाया जा सकता है। प्री पेड सिस्टम को बढ़ावा देना भी कारगर उपाय है।
3) तीसरा कारगर उपाय है ज्यादा से ज्यादा मात्रा में पब्लिक ट्रांसपोर्ट को बढ़ावा देके। जोकि जाम के साथ साथ पर्यावरण प्रदुषण से भी निजात दिलायगा।
आशा है माननीय मंत्री जी का जाम फ्री अभियान जल्दी ही सफल होगा। आप के भी सुझाव आमंत्रित है।
एक आशावादी।।
best.
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